इस गंभीर समस्या को लेकर तहसील दिवस पर सदर एसडीएम को एक मांग पत्र सौंपा गया था। पत्र में बताया गया कि ग्रामवासियों को अब तक “हर घर नल से जल” योजना का लाभ नहीं मिल पाया है, जिससे आम जनजीवन प्रभावित हो रहा है। ग्रामीणों को अब भी पीने के पानी के लिए परेशान होना पड़ता है।
स्थानीय नागरिकों का कहना है कि जब वर्षों पहले पाइपलाइन डाली जा चुकी है तो पानी की आपूर्ति में विलंब होना प्रशासनिक लापरवाही का प्रत्यक्ष प्रमाण है। यह न केवल शासन की कार्यप्रणाली पर प्रश्नचिह्न खड़ा करता है, बल्कि ग्रामीणों के मौलिक अधिकारों का भी उल्लंघन करता है।
इस क्रम में 16 जून, सोमवार को जल निगम विभाग के अवर अभियंता के नेतृत्व में एक टीम ने सरैयाँ गांव का स्थलीय निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान उन्होंने ग्रामीणों को आश्वासन दिया कि आगामी दस से पंद्रह दिनों के भीतर जल आपूर्ति शुरू कर दी जाएगी। उन्होंने कहा कि तकनीकी खामियों को दूर कर लिया गया है और अब प्रक्रिया अंतिम चरण में है।
निरीक्षण के दौरान ग्रामवासियों में सुनील कन्नौजिया, सुरेश कुशवाहा, बेचू, मुद्रिका, विनोद सहित दर्जनों ग्रामीण उपस्थित रहे। सभी ने जल निगम की टीम के समक्ष अपनी समस्याएं रखीं और जल्द समाधान की अपेक्षा जताई। अब देखने वाली बात होगी कि दिए गए आश्वासन के अनुरूप ग्रामीणों को तय समयसीमा में नल से जल मिल पाता है या नहीं।